सोमवार, 14 सितंबर 2009

समोसा खिलाकर हड़पी नरेगा (NREGA) की मजदूरी

समोसा खिलाकर हड़पी नरेगा (NREGA) की मजदूरी
  • नानामउ में नरेगा मजदूरों के नाम पर लाखों रूपये लूटे प्रधान ने
    • नरेगा मजदूरों के एकाउंट से जबरदस्ती पैसा निकलवा हड़पा प्रधान ने
  • मानक से ज्यादा जबरदस्ती लिया जा रहा है काम
नानामउ ग्राम पंचायत के ग्राम प्रधान ने नरेगा में फर्जी मस्टर रोल भरकर करीब 100 मजदूरों के नाम पर पैसा एकाउन्ट में मंगाकर मजदूरों को ये बताते हुए कि ये पैसा गलती से आ गया है सबका पैसा नकद निकलवाकर उन्हें समोसा चाय खिलाकर हड़प लिया। जिन लोगों ने पैसा निकालने का विरोध किया उन्हे पुलिस में देने की धमकी देकर और जबरदस्ती उन्हे बैक ले जाकर उनसे पैसा निकलवाकर प्रधान राधवेन्द्र सिंह उर्फ भंवर सिंह ने हड़प लिया। गंगा नदी के किनारे बसा कानपुर नगर के बिल्हौर तहसील का ग्राम पंचायत नानामउ। पिछले साल जब नरेगा कानून कानपुर नगर में लागू हुआ तब इस गांव के भूमिहीन मजदूरों को भी आस बंधी की, अब उन्हें भूखे पेट नहीं सोना पड़ेगा। वे नरेगा में काम करके अपने परिवार को रोटी दे सकेंगे, मगर आज वो आस टूट रही है। जब जाब कार्ड बनने के बाद नरेगा का बैंक एकाउन्ट खुला तो गांव के जागेलाल बताते है, कि मैं जिंदगी में पहली बार बैंक गया था। आगे बताते है, कि नरेगा में 11 दिन काम किया बैंक में जब पेैसा आया जाकर 1000 रू0 निकाला सोचा अब दिन बहुरने वाले है, बैंक से मजदूरी मिल रही है। अब हम गरीबों की मजदूरी कोई लूट नहीे पायेगा। फिर काम बन्द हो गया करीब 1 महीने बाद एक दिन प्रधान राधवेन्द्र सिंह अपनी मार्सल गाड़ी लेकर आये और कहा कि, तुम्हारे एकाउन्ट में गलती से हमारे खाते का पैसा आ गया हैं, चलो गाड़ी में बैठो और बैंक से पैसा निकालकर दे दो। मैने सोचा कि जो प्रधान जी गांव में किसी के बिमार पड़ने पर भी अपनी गाड़ी नहीं देते है आज हम लोगों को अपनी गाड़ी में क्यों ले जा रहे हैं। गांव के और भी मजदूर गाड़ी में बैठे थे। प्रधान हम सबको लेकर बड़ौदा ग्रामीण बैक बिल्हौर गये और फार्म भरकर हम लोगों से अंगूठा लगाकर जमा कर दिये हम लोगों ने तीन-तीन हजार रूप्ये निकालकर प्रधान राधवेन्द्र सिंह को दे दिये, उसके बाद प्रधान ने हम लोगों को चाय समोसा खिलाया और 50 रूप्ये देकर कहा कि बस से गांव चले जाओ। इसी तरह से गांव के करीब 100 मजदूरों का पैसा निकलवाकर प्रधान ने सबसे ले लिया। हम लोगो ने इस बीच कोई काम नहीे किया था इसलिए सोचा कि गलती से पैसा चढ़ गया होगा। गांव के कुछ मजदूरों ने जब अपने खाते से पैसा निकालने से मना किया तब प्रधान ने पुलिस बुलाने और पिटवाने की धमकी दी तो मजदूर डरकर पैसा निकालकर दे दिये कुछ मजदूर जब रिस्तेदार के यहां चले गये तो उसे गाड़ी से पकड़कर जबरदस्ती उससे पैसा प्रधान ने निकलवा लिया। संजय द्विवेदी ने बताया कि उनके घर में दो भाइयों के जाब कार्ड बने है और हम दोनों भाइयों ने करीब 24 हजार रूप्ये निकालकर प्रधान को दिये हैं। संजय पुत्र दयाशंकर का जाब कार्ड सं0 31340376042825093 और बैंक एकाउन्ट न0 30650100003312 से 9 मार्च को 8000 रूप्ये 18 मार्च को 2400 और 26 मार्च को 2000 रूप्ये निकालकर प्रधान राधवेन्द्र सिंह को दे दिये। इसी तरह राजेश पुत्र राम स्वरूप बैंक एकाउन्ट न0 30650100003402 से 2900 रूप्ये, राजू पुत्र राम स्वरूप से 1900 रूप्ये, राजेश पुत्र मुल्ला जाब कार्ड सं0 31340376042825098 से 2900 रूप्ये, अरविन्द पुत्र सोबैदर जाब कार्ड सं0 31340376042825001 और बैंक एकाउन्ट न0 30650100003370 से 2900 रूप्य,े अरूण पुत्र रामस्वरूप जाब कार्ड सं0 31340376042825153 और बैंक एकाउन्ट न0 30650100003360 से 2900 रूप्ये निकालकर ग्राम प्रधान को दे दिए। मजदूरों के जाब कार्ड में कुछ भी नहीं भरा गया है जाब कार्ड पूरी तरह से खाली है। मजदूरों से बातचीत के दौरान वहां पर ग्राम पंचायत के नरेगा के काम के लिए नियुक्त पंचायत मित्र अंकित कुमार शुक्ल आ गये, उन्होने बताया कि मस्टर रोल काम के दौरान नहीं भरा जाता है वो प्रधान और सचिव बाद मे भरते हैं। मजदूरों ने ये भी बताया कि उनसे 100 से 110 घन फिट मिट्टी खोदने का कार्य लिया जा रहा है। पंचायत सचिव ने बताया कि 100 धनफुट मिट्टी खोदने का कार्य हम लोग लेते है, ये बताने पर कि मानक ये नहीे है तो पंचायत सचिव ने कहा कि प्रधान जो कहते है वही यहंा मानक है। जाते-जाते उन्होने मजदूरों को धमकी दी कि जो जो लोग यहां पर बैठक में हो उन सबको काम से निकाल देंगे और कोई काम नहीं करायेंगे। जहां आज हम अपने को विकसित देश की कतार में खडे़ देखना चाहते है वही इस देश की 60 प्रतिशत आबादी आज भी इसी तरह शोषण व दमन के बीच रोटी की जद्दोजहद में लगी हुई है, और हमारे रक्तपिपासु जनप्रतिनिधि तथा प्रशासन के नुमाइंदे नरेगा जैसी योजनाओं में भी मजदूरों का रक्त चूस रहे है।

Report By, Mahesh & Shankar Singh

“Asha Pariwar”, Kanpur

“Apna Ghar”, B-135/8, Pradhane Gate, Nankari ,IIT, Kanpur-16 India


1 टिप्पणी:

  1. अफसोसजनक!!

    हिंदी दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ.

    कृप्या अपने किसी मित्र या परिवार के सदस्य का एक नया हिन्दी चिट्ठा शुरू करवा कर इस दिवस विशेष पर हिन्दी के प्रचार एवं प्रसार का संकल्प लिजिये.

    जय हिन्दी!

    जवाब देंहटाएं